तेज़ी से सरकता समय
मुझे करता है व्यथित
मैं रोकना चाहती हूँ
इसकी रफ़्तार
जीना चाहती हूँ
हर पल को
महसूसना चाहती हूँ इसे
ये वक्त थम -थम कर गुजरे
ताकि बस जाए हर लम्हा
मेरी निगाहों में
हमेशा तेरे - मेरे ज़ज्बातों में
मेरी हर साँस रखे याद
गुज़रे कल को
हर व्यक्ति बन जाए
मेरे लिए खास
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4 टिप्पणियां:
bahut badhiyaa !!
vyastata k daur me jindagi masoos karne ka b samay nahi milta hai. very nice.
"जीना चाहती हूँ
हर पल को
महसूसना चाहती हूँ इसे
ये वक्त थम -थम कर गुजरे "
-- सुंदर अभिव्यक्तियाँ । हम सभी चाहते हैं समय के प्रवाह को रोकना ।
amit pachauri ji,
mere blog par aane or comment karne k liye dhanyad
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